ताड़ासन स्थिरता और दृढ़ता का प्रतीक, पर्वत की बेटी मां शैलपुत्री से प्रेरित
सभी देशवासियों को आयुष्य मन्दिरम् परिवार की ओर से शारदीय नवरात्रि की हार्दिक शुभकामनाएं इस नवरात्र, माँ शैलपुत्री की तरह प्रकृति से जुड़ें। जैसे पर्वत अपनी जगह पर स्थिर रहता है, वैसे ही हम प्रकृति की रक्षा का संकल्प लें। योग हमें धरती से जोड़ता है और हमें भीतर की दृढ़ता का एहसास कराता है। आइए, इस नवरात्र अपनी आध्यात्मिक यात्रा को पर्यावरणीय चेतना से जोड़ें। आज का योगासन ताड़ासन (पर्वतासन) यह आसन स्थिरता और दृढ़ता का प्रतीक है, जो पर्वत की बेटी मां शैलपुत्री से प्रेरित है। पर्यावरणीय कर्तव्य: अपने घर के पास एक पौधा लगाएं और उसकी देखभाल करने का संकल्प लें। यह प्रकृति के साथ जुड़ने का प्रतीक है।ग्रीन योग संदेश: "जैसे पर्वतराज हिमालय की पुत्री शैलपुत्री अडिग हैं, वैसे ही हम प्रकृति को बचाने के अपने संकल्प...